मण्डी शुल्क और कृषक कल्याण शुल्क में छूट प्रदान करने चेम्बर की कृषिमंत्री नेताम से मांग

रायपुर, 23 जून। छत्तीसगढ़ चेम्बर ने बताया कि चेम्बर प्रतिनिधि मंडल ने कृषि मंत्री रामविचार नेताम जी से मुलाकात कर ट्रेडर्स व्यापारियों, किराना, दलहन एवं अनाज पर मण्डी शुल्क एवं कृषक कल्याण शुल्क में छूट प्रदान करने की मांग की। इस संबंध में कृषि मंत्री जी ने सकारात्मक प्रतिक्रिया देते हुए उचित कदम उठाने की बात कही। श्री पारवानी ने कृषि मंत्री को बताया कि मंडी शुल्क एवं कृषक कल्याण शुल्क में विसंगति होने के कारण मंडियों से प्रतिस्पर्धा पूर्ण रूप से से समाप्त हो गई है जिसका नुकसान कृषक एवं टे्रडर्स व्यापारियों को उठाना पड़ रहा है। किराना, दलहन एवं अनाज पर विगत कई वर्षों से मंडी शुल्क एवं कृषक कल्याण शुल्क में छूट प्रदान की जाती रही है इससे प्रदेश के व्यवसायी पड़ोसी राज्यों से प्रतिस्पर्धा दरों में व्यापार कर पाते हैं। विगत वर्ष भी इसमें छूट प्रदान की गई थी। श्री पारवानी ने बताया कि कृषि उपज धान आधारित ,खाद्य प्रसंस्करण पोहा उद्योगों को राहत देने हेतु पोहा एवं मुरमुरा संबंधी लघु उद्योगों हेतु विद्युत दरों में 50 प्रतिशत की कमी की जाये, पोहा उद्योगों को मंडी टैक्स से पूर्णत: मुक्त किया जावे। लघु उद्योग रोजगार मूलक उद्योग है अत: नगर की सीमा में आने वाले खाद्य प्रसंस्करण उद्योगों को संपत्ति कर से पूर्णत: मुक्त रखा जावे जिससे कि पोहा उद्योगों को राहत मिल सके। उपरोक्त विषयों पर कृषि मंत्री रामविचार नेताम ने सकारात्मक प्रतिक्रिया देते हुए उचित कदम उठाने की बात कही। इस अवसर पर चेम्बर प्रदेश अध्यक्ष अमर पारवानी, कार्यकारी अध्यक्ष-राजेन्द्र जग्गी, विक्रम सिंहदेव, राम मंधान, उपाध्यक्ष टी.श्रीनिवास रेड्डी, मंत्री-नीलेश मूंधड़ा, जवाहर थौरानी, जयंत मोहता, छत्तीसगढ़ पोहा मुरमुरा उत्पादक महासंघ भाटापारा से अनिल रोचलानी, रंजीत दावानी, राकेश मंधान, अजय मंधान एवं अंबिकापुर से रविन्द्र तिवारी, प्रमुख रूप से उपस्थित थे।

मण्डी शुल्क और कृषक कल्याण शुल्क में छूट प्रदान करने चेम्बर की कृषिमंत्री नेताम से मांग
रायपुर, 23 जून। छत्तीसगढ़ चेम्बर ने बताया कि चेम्बर प्रतिनिधि मंडल ने कृषि मंत्री रामविचार नेताम जी से मुलाकात कर ट्रेडर्स व्यापारियों, किराना, दलहन एवं अनाज पर मण्डी शुल्क एवं कृषक कल्याण शुल्क में छूट प्रदान करने की मांग की। इस संबंध में कृषि मंत्री जी ने सकारात्मक प्रतिक्रिया देते हुए उचित कदम उठाने की बात कही। श्री पारवानी ने कृषि मंत्री को बताया कि मंडी शुल्क एवं कृषक कल्याण शुल्क में विसंगति होने के कारण मंडियों से प्रतिस्पर्धा पूर्ण रूप से से समाप्त हो गई है जिसका नुकसान कृषक एवं टे्रडर्स व्यापारियों को उठाना पड़ रहा है। किराना, दलहन एवं अनाज पर विगत कई वर्षों से मंडी शुल्क एवं कृषक कल्याण शुल्क में छूट प्रदान की जाती रही है इससे प्रदेश के व्यवसायी पड़ोसी राज्यों से प्रतिस्पर्धा दरों में व्यापार कर पाते हैं। विगत वर्ष भी इसमें छूट प्रदान की गई थी। श्री पारवानी ने बताया कि कृषि उपज धान आधारित ,खाद्य प्रसंस्करण पोहा उद्योगों को राहत देने हेतु पोहा एवं मुरमुरा संबंधी लघु उद्योगों हेतु विद्युत दरों में 50 प्रतिशत की कमी की जाये, पोहा उद्योगों को मंडी टैक्स से पूर्णत: मुक्त किया जावे। लघु उद्योग रोजगार मूलक उद्योग है अत: नगर की सीमा में आने वाले खाद्य प्रसंस्करण उद्योगों को संपत्ति कर से पूर्णत: मुक्त रखा जावे जिससे कि पोहा उद्योगों को राहत मिल सके। उपरोक्त विषयों पर कृषि मंत्री रामविचार नेताम ने सकारात्मक प्रतिक्रिया देते हुए उचित कदम उठाने की बात कही। इस अवसर पर चेम्बर प्रदेश अध्यक्ष अमर पारवानी, कार्यकारी अध्यक्ष-राजेन्द्र जग्गी, विक्रम सिंहदेव, राम मंधान, उपाध्यक्ष टी.श्रीनिवास रेड्डी, मंत्री-नीलेश मूंधड़ा, जवाहर थौरानी, जयंत मोहता, छत्तीसगढ़ पोहा मुरमुरा उत्पादक महासंघ भाटापारा से अनिल रोचलानी, रंजीत दावानी, राकेश मंधान, अजय मंधान एवं अंबिकापुर से रविन्द्र तिवारी, प्रमुख रूप से उपस्थित थे।